आज का पंचांग : 01 अप्रैल, 2012
ज्योतिष, ताजा खबरें, पंचांग 5:22 am

तिथि संवत - चैत्र शुक्ल पक्ष नवमी. श्रीराम नवमी, विक्रम संवत् 2069, सूर्य उत्तरायण, बसंत ऋतु।
नक्षत्र- पुनर्वसु नक्षत्र प्रात: 9.11 तक, इसके बाद पुष्य नक्षत्र।
ग्रह स्थिति- सूर्य-मीन, चंद्र- कर्क, मंगल-सिंह, बुध-मीन, गुरु-मेष, शुक्र-वृष, शनि-तुला, राहु-वृश्चिक, केतु-वृष राशि में स्थित हैं।
राहुकाल- शाम 5.10 बजे से 6.40 बजे तक।
दिशाशूल- पश्चिम दिशा, यदि आवश्यक हो तो दलिया खाकर घर से निकलें।
जानिए रविवार को कब-कब है अच्छे चौघडिय़े और कब-कब हैं बुरे चौघडिय़े...
प्रात: 6 बजे से 7.30 तक उद्वेग
प्रात: 7.30 बजे से 9 बजे तक चर
प्रात: 9 बजे से 10.30 बजे तक लाभ
प्रात: 10.30 बजे से 12 बजे तक अमृत
दोपहर 12 बजे से 1.30 बजे तक काल
दोप. 1.30 बजे से 3 बजे तक शुभ
दोप. 3 बजे से 4.30 बजे तक रोग
शाम 4.30 बजे से 6 बजे तक उद्वेग
शाम 6 बजे से 7.30 तक शुभ
शाम 7.30 बजे से 9 बजे तक अमृत
रात 9 बजे से 10.30 बजे तक चर
रात 10.30 बजे से 12 बजे तक रोग
रात 12 बजे से 1.30 बजे तक काल
रात 1.30 बजे से 3 बजे तक लाभ
रात 3 बजे से 4.30 बजे तक उद्वेग
रात 4.30 बजे से 6 बजे तक शुभ
जब भी कोई नया या शुभ या मांगलिक कार्य प्रारंभ किया जाए तो उसकी सफलता के भगवान से प्रार्थना करना चाहिए। इसके साथ ही ध्यान रखें कि कार्य का शुभारंभ शुभ चौघडिय़े में ही हो। रोज के कार्यों के लिए जरूरी है चौघडिय़ा देखकर शुभारंभ किया जाए या यात्रा के लिए निकला जाए।
जानिए, कौन से श्रेष्ठ चौघडिय़े और कौन से हैं अशुभ चौघडिय़े...
उत्तम चौघडिय़े- अमृत, शुभ, लाभ और चर हैं।
अशुभ चौघडिय़े- उद्वेग, रोग तथा काल हैं।
उत्तम चौघडिय़े में ही कार्य का प्रारंभ करना चाहिए जबकि अशुभ चौघडिय़े में नया कार्य प्रारंभ करने से बचना चाहिए।
